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उत्तराखंड के बड़े वन अधिकारी सुशांत पटनायक के घर भी ईडी की रेड, मिले करोड़ों रुपए ! लड़की से छेड़छाड़ मामले में चर्चा मे आया था अधिकारी

By on February 7, 2024 0 583 Views

देहरादून. उत्तराखंड में प्रवर्तन निदेशालय आज एक्शन मोड में है. ईडी की टीम ने कांग्रेस नेता हरक सिंह रावत समेत अन्य लोगों के खिलाफ कार्रवाई की है. मामले की अगर बात करें तो ये सर्च ऑपरेशन उत्तराखंड से जुड़ा वन विभाग घोटाला का ये मामला है. इस दौरान देहरादून स्थित वन विभाग में कार्यरत अधिकारी सुशांत पटनायक के घर से करोड़ों रुपए की नगदी बरामद हुई है. इतनी अधिक मात्रा में नगदी मिलने की वजह से ईडी की टीम को नोट गिनने के लिए मशीन बुलवानी पड़ी है.

उत्तराखंड में ईडी का एक्शन जारी है. यहां केंद्रीय जांच एजेंसी यानी प्रवर्तन निदेशालय ने मंत्री रहे हरक सिंह रावत के ठिकानों पर छापेमारी की थी, इस दौरान अन्य लोगों के खिलाफ भी कार्रवाई की गई है. यह कार्रवाई वन विभाग से जुड़े एक घोटाले के मामले में का जा रही है. इस दौरान ईडी की टीम ने वन विभाग के अधिकारी सुशांत पटनायक के आवास पर भी छापामार कार्रवाई की है.

ईडी को टीम ने जब यहां छानबीन की तो, अधिकारी सुशांत पटनायक के आवास से करोड़ों रुपए की नगदी मिली. देहरादून में किशनपुर स्थित आवास में अधिकारी के मकान में ईडी की टीम को करोड़ों का कैश मिला. इतनी बड़ी रकम को गिनने के लिए ईडी को नोट गिनने वाली मशीन मंगानी पड़ गई है. अब अधिकारी के बंगले से मिले रुपयों की गिनती की जाएगी.

पटनायक पर चार दिनों पहले ही एक वन विभाग की एक महिला कर्मी ने घर पर अश्लील हरकत करने का आरोप लगाया था. लड़की ने कहा था कि पटनायक के पिताजी के निधन पर वो 24 जनवरी को उनके ऑफिस शोक संवेदना व्यक्त करने गई थी. तभी पटनायक ने उनसे अश्लील हरकतें कीं और दुष्कर्म का प्रयास किया.

पीड़िता से छेड़खानी के आरोप में आईएफएस सुशांत पटनायक के खिलाफ छेड़खानी का केस दर्ज किया गया है. महिलाकर्मी के आरोपों के बाद पटनायक को प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड सदस्य सचिव की पोस्ट भी गंवानी पड़ी. उन पर यह मुकदमा राजपुर थाने में दर्ज हुआ था. जब पटनायक ने उससे अश्लील हरकतें कीं तो वो भागकर बाहर आ गई. फिर पटनायक को लगा कि कहीं इसकी शिकायत महिलाकर्मी किसी से न कर दे तो उन्होंने व्हाट्सएप मैसेज पर सॉरी लिखकर तीन बार माफी मांगी.  हालांकि मैसेज बाद में डिलीट भी कर दिया. बगैर साइबर एजेंसी ने मैसेज को रिकवर कर लिया था.

शिकायत की बात पता चली तो पटनायक ने महिलाकर्मी से समझौते को लेकर दबाव बनाया. पैसा देने का लालच भी दिया. वन विभाग के दूसरे अफसर को भेजकर समझौते के लिए कहा. महिला ने इसकी रिकॉर्डिंग कर लिया.किसी भी तरह के दबाव में आए बिना पीड़िता लगातार नौकरी करती रही. फिर सरकार ने बोर्ड से सुशांत पटनायक को हटा दिया. महिला की शिकायत के आधार पर केस दर्ज कर जांच तेज कर दी गई