
भीमराव अंबेडकर जयंती के मौके पर तीन दिवसीय कार्यक्रम की शुरुआत आज से
रामनगर। पटरानी गांव में भीमराव अंबेडकर जयंती के मौके पर तीन दिवसीय कार्यक्रम की शुरुआत आज से हुई। कार्यक्रम इंकलाबी नौजवान सभा व आइसा द्वारा आयोजित किया गया। इस कार्यक्रम में मुख्य अतिथि भाकपा माले के राज्य सचिव तथा गढ़वाल विश्वविद्यालय के पूर्व छात्र संघ अध्यक्ष इंद्रेश मैखुरी, गढ़वाल विश्वविद्यालय के पूर्व छात्रसंघ अध्यक्ष अंकित उछोली, गढ़वाल विश्वविद्यालय के छात्र नेता अतुल सती मौजूद रहे।
मुख्य वक्ता इंद्रेश मैखुरी ने कहा कि बाबा साहेब आंबेडकर ने जातिगत भेदभाव को झेला, जिसने अंबेडकर के जीवन पर बहुत बुरा प्रभाव डाला। अंबेडकर ने इस भेदभाव से बचने के लिए अपने पूरे जीवन संघर्ष किया। अंबेडकर ने हमारे देश के संविधान को भेदभाव रहित बनाने का प्रयास किया। और न केवल संविधान बल्कि महिलाओं को बराबरी का दर्जा देने के लिए भी कानून बनाया। और अंबेडकर देश के पहले मंत्री थे जिन्होंने महिलाओं के अधिकारों के लिए बने कानून को पारित न होने पर अपने कानून मंत्री के पद से ही इस्तीफा दे दिया था।
गढ़वाल विश्वविद्यालय के पूर्व छात्रसंघ अध्यक्ष अंकित उछोली ने कहा कि अंबेडकर ने शिक्षित होने और संगठित होने पर जोर दिया था। जिसका उन्होंने अपने जीवन पर्यंत आगे बढ़ाया। उन्होंने अपनी पढ़ाई को केवल स्वयं तक सीमित नहीं रखा बल्कि अपने पूरे समाज के लिए उपयोग किया। उन्हीं से प्रेरणा लेकर हमे भी अपनी पढ़ाई को समाज के लिए उपयोगी साबित करना है तभी हम एक बेहतर समाज को बना पाएंगे।
इंकलाबी नौजवान सभा की रामनगर ब्लॉक की सह संयोजक रेखा आर्य ने कहा कि हम संगठित हो कर अंबेडकर के बताए रास्ते पर आगे बढ़ेंगे और समाज में मौजूद सभी भेदभावों को खत्म करेंगे।
नैनीताल जिले में आइसा की उपसचिव हेमा जोशी ने कहा कि हम अंबेडकर के बताए रास्ते पर चलकर अपने अपने समाज में लोगों को शिक्षित करने का काम कर रहे है और आगे भी इसी तरह करेंगे। जिस से कि हमारा देश शिक्षित बने और अपने समझ के भेदभावों को पढ़ कर और समझ कर खत्म करने की दिशा में आगे बढ़ेंगे।
कार्यक्रम में नैनीताल जिले की उपाध्यक्ष आइसा की नेहा आर्य ,विजय, योगेश, अजय, संदीप, वंशिका, वंश लोहनी, तपस्या, यमुना, दीपाली, अर्जुन, खुशी, मोनिका, दीया आदि मौजूद रहे।